AMAZING FACTS ABOUT HUMAN BODY : वैज्ञानिक अनुमान के अनुसार हर साल हमारे कान अपने मूल आकार से एक मिमी के पांचवें हिस्से तक बढ़ जाते है. वैसे तो यह वृद्धि बहुत कम है लेकिन साल दर साल इसमें वृद्धि होती जाती है.
हमारी उम्र बढ़ने के साथ-साथ ही हमारी नाक और कान कुछ बड़े हुए दिखाई देते हैं. इस बारे मे ऐसा कहा जाता है कि ये दोनों ही अंग समय के साथ लगातार विकसित होते रहते हैं, जबकि शरीर के बाकी अंग एक सीमा के बाद नहीं बढ़ते हैं. कुछ लोग नाक और कान के बढ़ने को सिर्फ अफवाह बताते हैं, जबकि इसके पीछे वैज्ञानिक तथ्य भी छिपे है. उम्र के साथ मे हमारे नाक-कान बड़े दिखाई देते हैं, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि ये बढ़ते ही रहते हैं. विज्ञान के द्वारा इसे गुरुत्वाकर्षण (Gravity) का असर बताया जाता है.
जी हां, गुरुत्वाकर्षण बल के कारण हमारे कान और नाक हर साल पहले के मुकाबले बढ़ते हुए प्रतीत होते हैं. दरअसल, हमारे नाक और कान कार्टिलेज (cartilage) के बने हुए होते हैं. ऐसा माना जाता है कि कार्टिलेज में समय के साथ निरंतर विकास होता रहता है, इसमें होने वाली वृद्धि नहीं रुकती है. जबकि सच ये है कि कार्टिलेज में बढ़ोतरी नहीं होती है, इसमे किसी भी प्रकार का विकास नहीं होता. विज्ञान की माने तो कार्टिलेज कोलाजेन और अन्य फाइलर के बने होते हैं जो कि व्यक्ति की उम्र बढ़ने के साथ टूटते हैं या कमजोर पड़ते हैं.
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जर्मन वेबसाइट डॉयचे वेले (DW) की रिपोर्ट के अनुसार कार्टिलेज, कोलाजेन और फाइबर्स के हुए बने होते हैं, जिनके टूटने से ड्रूपिंग (drooping) होती है. ऐसे में हमारे शरीर में नाक और कान पहले के मुकाबले बढ़ते हुए दिखते जरूर हैं, लेकिन असल मे ऐसा गुरुत्वाकर्षण के कारण होता है. गुरुत्वाकर्षण बल की वजह से हमारे नाक और कान समय के साथ नीचे की ओर झुकते जाते हैं और इनके हमे इनके आकार में बदलाव दिखता रहता है.
लोगों का यह मानना हैं कि हमारी नाक और कान सदैव बढ़ते रहते हैं, जबकि असल मे ऐसा नहीं है. असल मे नाक-कान के कार्टिलेज उम्र बढ़ने के साथ खिंच जाते हैं. कुछ ऐसी ही स्थिति हमारे होठों और गाल के साथ भी होती है ओर उम्र के साथ हमारी त्वचा भी ढीली पड़ती है और गुरुत्वाकर्षण बल के कारण यह नीचे की तरफ झूल जाती है. इससे हमें इन अंगों में वृद्धि होती हुई दिखाई देती है. लेकिन असल मे ऐसा होता नहीं है.
एक अनुमान के मुताबिक हर साल हमारे कान अपने मूल आकार से एक मिमी के पांचवें हिस्से तक खिंच जाते है. हालांकि यह वृद्धि बहुत कम है लेकिन साल दर साल इसमें वृद्धि होती ही जाती है. ऐसा ही कुछ हमारी नाक के साथ भी होता है. इसी तरह हमारा चेहरा भी बढ़ती उम्र के साथ बदलता रहता है. त्वचा में सिकुड़न आने के कारण धीरे-धीरे हमारा चेहरा पहले की तुलना मे छोटा दिखने लगता है.
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